ये मंदिर क्या है ?
मेरे मन मंदिर में आन,
पधारो महावीर भगवान।
भगवन् तुम आनंद सरोवर,
रूप तुम्हारा महा मनोहर।
निसदिन रहे तुम्हारा ध्यान,
पधारो महावीर भगवान।।
मंदिर तो हम प्रतिदिन जाते हैं...
पर मंदिर क्या है ?
मंदिर शांति का परम धाम •••
बाहरी अशांति से पीड़ित प्रत्येक आत्मा को परम शांति प्राप्त करने के लिए यह मंदिर शांति का परम धाम है।
मंदिर धन भंडार की अनोखी कुंजी है •••
आत्म धन भंडार के ऊपर अज्ञानता का ताला लगा हुआ है, सम्यक ज्ञान का प्रकाश प्राप्त करने के लिए और उस अज्ञानता के ताले को खोलने के लिए यह मंदिर अलौकिक कुंजी है।
मंदिर यह स्वच्छ दर्पण है •••
स्वच्छ दर्पण में जैसे अपना प्रतिबिंब स्पष्ट दिखाई देता है, उसी प्रकार से आत्म दर्शन के लिए मंदिर स्वच्छ दर्पण जैसे हैं।
मंदिर यह दिव्य अस्पताल जैसे है •••
अस्पताल में जाने से जैसे रोग का निदान और उपचार होता है वैसे ही अनादि काल से जन्म मरण के रोग निवारण हेतु मंदिर दिव्य अस्पताल है।
मंदिर यह विशाल घंटाघर है •••
घंटाघर प्रत्येक को समय की जानकारी देता है और यथा समय प्रवृत्ति होने प्रेरित करता है उसी प्रकार से मंदिर विशाल घंटाघर के रूप में आत्मा को अनंत शक्ति का ज्ञान कराते हुए हम मेें जागृति लाता है।
मंदिर जाते समय बस एक ही विचार करना चाहिए •••
श्रद्धा जागी धर्म पर,
चलूँ मंदिर की ओर।
सब पापों का हनन कर,
बनूँ स्वयं अरिहंत।।
🙏 जय जिनेंद्र 🙏
🚩🙏 जय महावीर 🙏🚩
🚩🔔 जैनम जयति शासनम् 🔔🚩
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